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हाईकोर्ट द्वारा रद्द कर दी गई झारखंड की नियोजन नीति को लेकर जारी विवाद पर वरिष्ठ विधायक सरयू रॉय ने प्रतिक्रिया दी है। सरयू रॉय ने नियोजन नीति को लेकर कहा कि यूपी और बिहार का काल्पनिक दुश्मन खड़ा करने से काम नहीं चलेगा। संविधान-सम्मत नियोजन नीति बनाने की बात करते हुए सरयू राय ने कहा कि विज्ञापन निकालिए और बहाली कीजिए। गौरतलब है कि हेमंत सरकार द्वारा बनाई गई नियोजन नीति को झारखंड हाईकोर्ट ने असंवैधानिक बताते हुए रद्द कर दिया था। नियोजन नीति को लेकर झारखंड विधानसभा का शीतकालीन सत्र काफी हंगामेदार रहा। नियोजन नीति पर सत्तापक्ष और विपक्ष के बीच कई बार टकराव हुआ।
काल्पनिक दुश्मन बनाने से काम नहीं चलेगा
सरयू राय ने नियोजन नीति विवाद पर टिप्पणी करते हुए कहा कि यूपी बिहार का काल्पनिक दुश्मन खड़ा करने और उस पर हवा में जुबानी प्रहार करने से झारखंड का भला नहीं होगा। उन्होंने कहा कि झारखंड का भला होगा संविधानसम्मत नियोजन नीति बनाने से ताकि विज्ञापन निकले और बहाली हो। अभी तक हुई बहाली में कौन झारखंड का नहीं है, यह भी बताएं।
हेमंत सरकार की नियोजन नीति रद्द हो गई थी
गौरतलब है कि फरवरी 2022 में झारखंड की मौजूदा हेमंत सरकार नई नियोजन नीति लाई थी। इस नियोजन नीति में तृतीय और चतुर्थवर्गीय पदों पर नियुक्ति में केवल उन्हीं लोगों के लिए आवेदन करने की सुविधा दी गई थी जिन्होंने झारखंड से 10वीं और 12वीं की परीक्षा पास की हो। क्षेत्रीय भाषा की सूची से हिंदी को हटाकर उर्दू को शामिल किया गया था। झारखंड हाईकोर्ट ने इसे असंवैधानिक बताते हुए रद्द कर दिया था। हाईकोर्ट ने कहा कि हेमंत सरकार की मौजूदा नियोजन नीति संविधान के अनुच्छेद-14 और 16 का खुला उल्लंघन है जो समानता की बात करता है। नियोजन नीति रद्द होने पर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कहा था कि हम छात्रहित में उच्चतम न्यायालय तक जाएंगे। नियोजन नीति रद्द होते ही विपक्ष सरकार पर हमलावर हो गया। बीजेपी ने नियोजन नीति को फर्जी बताते हुए इसे वापस लेने की मांग कर डाली।
रोजगार के लिए वैकल्पिक उपाय करने की बात
विधानसभा के शीतकालीन सत्र में नियोजन नीति का मुद्दा छाया रहा। सत्र के चौथे दिन हजारों की संख्या में छात्र भी सड़क पर निकले। विधानसभा का घेराव करना चाहा लेकिन पुलिस ने रोक लिया। छात्रों के प्रदर्शन को लेकर मुख्यमंत्री ने कहा कि वे जैसा चाहेंगे राज्य की नियोजन नीति वैसी ही बनेगी। उन्होंने कहा कि युवाओं को रोजगार देने के लिए जल्दी ही वैकल्पिक व्यवस्था की जाएगी। इस बीच बाहरी बनाम झारखंडी का विवाद भी चल रहा है। कहा जा रहा है कि राज्य की नियुक्तियों में बिहार-यूपी का कब्जा है। सरयू राय ने इसी विवाद को लेकर कहा कि काल्पनिक दुश्मन बनाने की आवश्यक्ता नहीं है बल्कि सही नियोजन नीति बनानी चाहिए।
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