बीएसएल के गेट पर बुजुर्ग ठेका मजदूर ने तोड़ दम
बीएसएल नहीं देगी मृतक के परिजन को मुआवजा
ठेका कंपनी ने 61 वर्षीय व्यक्ति का धांधली कर बनाया गेट पास
SAIL-BSl:स्टील अथॉरिटी ऑफ इंडिया(steel authority of india) के बोकरो स्टील प्लांट में 18 अगस्त की सुबह एक वृद्ध ठेका मजदूर की मौत हो गई। मृतक की उम्र करीब 61 वर्ष थी। मृतक का नाम अशोक कुमार बालिडीह के सिंहटोला निवासी थे। वे शांति ग्रीस इंडस्ट्री नाम के ठेका कंपनी के अंतर्गत मशीन शॉप में सुपरवाईजर पद पर कार्यरत थे। इसी क्रम में प्लांट प्रवेश करने के दौरान वे अचानक साईकिल से गिर गए और अचेत हो गए। उसे गिरते देख सीआईएसएफ की टीम उन्हें प्लांट के मेडिकल में ले गए जहां चिकित्सकों ने उन्हे मृत बता दिया। जिसके बाद उनके शव को बोकारो जेनरल अस्पताल के मर्चरी में रखा गया है।(SAIL)
प्लांट प्रबंधन नहीं देगा परिजन को नौकरी
ठेका मजदूरों की जान बोकारो स्टील प्लांट में भगवान भरोसे है। प्लांट के पूरा प्रोडक्शन से लेकर सभी कार्य ठेका मजदूरों के जिम्मे है। लेकिन हादसा होने के बाद न तो ठेका मजदूरों के लिए यूनियन खड़ा होती है और न ही सेल प्रबंधन के अधिकारी सक्रिय होते है। बीएसएल का कहना है कि उसकी मृत्यू काम करने के दौरान नहीं हुई है जिस कारण नियोजन का सवाल ही नहीं उठता है। ऐसी स्थिति में एक भी ने यूनियन नेता का बयान सामने नहीं आया है। यही नहीं ठेका मजदूरों के नाम पर राजनीति करनेवाले एक भी नेता भी सामने नहीं आए है। अब मृतक के पोस्टमार्टम रिपोर्ट का इंतजार है। जिसमें स्वभाविक रूप से दुर्घटना की पुष्टि नहीं हुई तो बीएसएल(BSL) के मनसुबे कामयाब हो जाएंगे।
सेवानिवृति की उम्र में बीएसएल(BSL) ने की धांधली
मृतक अशोक कुमार की उम्र 61 वर्ष है। यह उम्र उनके गेट पास में अंकित है। बावजूद इसके इन्हें काम पर रखने और काम कराने का क्या औचित्य है। इस बात का जवाब अब ठेका कंपनी को देना होगा। कुछ ठेका मजदूरों का कहना है ऐसे लोगों के फर्जी आधार व पैन पर बीएसएल में गेटपास आसानी से बना लिया जाता है। क्योकि इस प्रक्रिया में ठेकेदार को काफी लाभ होता है। ठेकेदार ठेका मजदूर को देय राशि का एक हिस्सा पेमेंट के बाद वापस ले लेते है। इस बात का कई बार विरोध भी हुआ लेकिन प्रबंधन के अधिकारी मौन रहे है।